कांग्रेस का 84वां अधिवेशन: अहमदाबाद में शुरू हुआ सियासी मंथन
तो भाई, कांग्रेस का 84वां अधिवेशन मंगलवार को अहमदाबाद में शुरू हो गया। साबरमती आश्रम में प्रार्थना सभा के बाद राहुल गांधी और मल्लिकार्जुन खड़गे ने जो कहा, वो अब सुर्खियों में है। राहुल ने साफ कहा, “हम दलित, मुस्लिम और ब्राह्मण की बातों में उलझे रहे, लेकिन ओबीसी हमसे दूर हो गया।” मतलब, पार्टी को अपनी स्ट्रैटेजी पर फिर से सोचना होगा। साथ ही, राहुल ने ये भी बोला कि मुस्लिमों के मुद्दे उठाने से हमें डरना नहीं चाहिए, भले ही लोग हमें मुस्लिम परस्त कहें।
खड़गे ने BJP-RSS को लिया आड़े हाथ
कांग्रेस अध्यक्ष खड़गे ने भी कोई कसर नहीं छोड़ी। उन्होंने BJP और RSS पर जमकर हमला बोला। बोले, “ये लोग गांधीजी का चश्मा-छड़ी चुरा सकते हैं, पर उनके आदर्श नहीं ले सकते।” खड़गे का कहना था कि सरदार पटेल और नेहरू एक ही सिक्के के दो पहलू थे, लेकिन BJP जानबूझकर उन्हें एक-दूसरे का दुश्मन बताती है। कांग्रेस का 84वां अधिवेशन में उन्होंने ये भी इल्ज़ाम लगाया कि RSS ने गांधी, नेहरू और अंबेडकर के पुतले जलाए थे, और अब उनकी विरासत पर कब्जा करने की कोशिश कर रहे हैं।
पटेल-नेहरू की दोस्ती के किस्से
खड़गे ने पुराने किस्से सुनाकर माहौल बनाया। बोले, “1937 में पटेल ने कहा था कि गुजरात कांग्रेस के लिए लड़ेगा तो नेहरू का फूलों से स्वागत करेंगे।” फिर 1949 का ज़िक्र किया, जब पटेल ने नेहरू की तारीफ में कहा था, “दो साल में नेहरू ने देश के लिए जो किया, वो मैंने करीब से देखा।” खड़गे का पॉइंट था कि BJP का नेहरू-पटेल को अलग दिखाने का नैरेटिव फर्जी है।
गांधी-अंबेडकर का अपमान का इल्ज़ाम
कांग्रेस का 84वां अधिवेशन में खड़गे ने मोदी सरकार पर भी निशाना साधा। कहा, “संसद से गांधी और अंबेडकर की मूर्तियाँ हटाकर कोने में रख दीं। अमित शाह ने तो राज्यसभा में अंबेडकर का मज़ाक उड़ाया।” उनका दावा था कि कांग्रेस ही संविधान और इसके निर्माताओं की रक्षा करेगी। साथ ही, गुजरात में 64 साल बाद हो रहे इस अधिवेशन को खास बताया।
9 अप्रैल को बड़ा शो
अब बात अधिवेशन के मेन इवेंट की। 9 अप्रैल को साबरमती रिवरफ्रंट पर कांग्रेस का 84वां अधिवेशन का मुख्य प्रोग्राम होगा। 1700 से ज़्यादा नेता शामिल होंगे। थीम है- ‘न्यायपथ: संकल्प, समर्पण, और संघर्ष।’ पार्टी का प्लान है कि गुजरात में संगठन को मज़बूत करें और 2027 के चुनाव का रोडमैप तैयार करें। राहुल-सोनिया सुबह अहमदाबाद पहुँचे, पर प्रियंका इस बार नहीं आईं।
चिदंबरम की तबीयत बिगड़ी
एक ट्विस्ट ये भी रहा कि शाम को साबरमती आश्रम में प्रार्थना सभा के दौरान पी. चिदंबरम की तबीयत खराब हो गई। उन्हें फटाफट अस्पताल ले जाया गया। बाकी नेताओं ने ग्रुप फोटो खिंचवाया, पर ये खबर थोड़ी टेंशन वाली रही।
7. Summary (Short aur Point-wise)
- राहुल की बात: ओबीसी हमसे दूर गया, मुस्लिम मुद्दों से डरना नहीं।
- खड़गे का हमला: BJP-RSS गांधी-अंबेडकर का अपमान कर रहे हैं।
- पटेल-नेहरू: दोनों की दोस्ती को BJP गलत दिखाती है।
- मेन इवेंट: 9 अप्रैल को साबरमती रिवरफ्रंट पर अधिवेशन।
- ट्विस्ट: चिदंबरम की तबीयत बिगड़ी, अस्पताल में भर्ती।
- मकसद: 2027 गुजरात चुनाव का रोडमैप तैयार करना।
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